PMKSY: उत्तर प्रदेश में लगातार नीच खिसकते भूगर्भ जलस्तर को मेंटेन करने के लिए जल संचयन के तमाम कोशिश की जा रही है. खेती में सिंचाई के रूप में पानी के होने वाले अपव्यय को रोकने के साथ किसानों की लागत में कमी लाने व उत्पादन बढ़ाने के लिए ड्रिप, स्प्रिंकलर के जरिए फव्वारा सिंचाई पद्धति को अपनाने पर जोर दिया जा रहा है. किसान इसके लिए प्रेरित हों किसानों को प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना (Pradhan Mantri Krishi Sinchayee Yojana) के तहत ड्रिप व स्प्रिंकलर व पोर्टेबल सिस्टम पर अनुदान दिया जा रहा है. 

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यूपी सरकार ड्रिप और स्प्रिंकलर सिंचाई तकनीकों जैसे उचित तकनीकी हस्तक्षेपों को बढ़ावा देकर कृषि क्षेत्र में जल उपयोग दक्षता बढ़ाने और किसानों को जल बचत और संरक्षण तकनीकों का उपयोग करने के लिए प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से सूक्ष्म सिंचाई (Micro Irrigation) पर केंद्र प्रायोजित योजना को लागू कर रही है.

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पहले आओ-पहले पाओ आधार पर चयन

योजना के तहत आवेदन करने वाले किसानों का चयन पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर किया जाएगा. विभाग की ओर से आवेदन पत्र मांगे हैं. किसान आवेदन कर फायदा उठा सकते हैं. आवेदन करने वाले किसानों के पास खुद की जमीन व निजी सिंचाई सुविधा होना अनिवार्य है. आधार कार्ड, खतौनी व बैंक पासबुक की फोटो कॉपी के साथ आवेदन करना होगा.

कितनी मिलेगी सब्सिडी

यूपी उद्यान विभाग के तहत संचालित योजना में ड्रिप, मिनी स्प्रिंकलर और रेनगन, पोर्टेबल स्प्रिंकल आदि को खरीदने पर 75 से 90% तक अनुदान दिया जाएगा. इसके जरिए सिंचाई करने से पानी की बचत होगी. साथ ही सिंचाई के रूप में आने वाले लागत में कमी आएगी. इससे खेती सस्ती होगी. पानी बचेगा तो उत्पादन भी बढ़ेगा.

प्रदेश में लगातार नीच खिसकते भूगर्भ जलस्तर को मेंटेन करने के लि एजल संचयन के तमाम कोशिश की जा रही है. खेती में सिंचाई के रूप में पानी के होने वाले अपव्यय को रोकने के साथ किसानों की लागत में कमी लाने व उत्पादन बढ़ाने के लिए ड्रिप, स्प्रिंकलर के जरिए फव्वारा सिंचाई पद्धति को अपनाने पर जोर दिया जा रहा है. किसान इसके लिए प्रेरित हों किसानों को प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना (Pradhan Mantri Krishi Sinchayee Yojana) के तहत ड्रिप व स्प्रिंकलर व पोर्टेबल सिस्टम पर अनुदान दिया जा रहा है.

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किस सिंचाई सिस्टम पर कितना अनुदान

ड्रिप व मिनी स्प्रिंकलर सिस्टम के सेटर पर लघु, सीमांत किसानों को 90% और सामान्य किसान (2 हेक्टेयर से अधिक जोत) को 80% अनुदान मिलेगा. जबकि पोर्टेबल स्प्रिंकलर सिस्टम व रेनगन पर लघु व सीमांत किसान को 75% व सामान्य किसान को 65% अनुदान दिया जाएगा. किसान उपकरण खरीद करेंगे. अनुदान की राशि उनके खाते में दी जाएगी.