भारत में चना दाल की खपत और पैदावार सबसे ज्यादा, प्रमोट करने के लिए शुरू की गई सरकारी Campaign
भारत में चना दाल का सबसे ज्यादा प्रोडक्शन और कंजप्शन होता है. चना दाल और इससे बने उत्पादों को प्रमोट करने के लिए सरकार अब Influencers की मदद लेगी. वे रील्स के माध्यम से लोगों को जागरूर करेंगे.
भारत में मुख्य रूप से पांच तरह के दाल का इस्तेमाल होता है. अपने देश में चना दाल का प्रोडक्शन और कंजप्शन भी सबसे अधिक होता है. कुल दाल उत्पादन में करीब 46 फीसदी चना दाल है. दाल की बढ़ती कीमतों के बीच सरकार का फोकस चना दाल और उससे बने उत्पादों पर है. इसे प्रमोट करने के लिए उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने कैम्पेन की शुरुआत की है.
Influencers की मदद लेगी सरकार
इस कैम्पेन को सफल बनाने के लिए सरकार अब इन्फ्लुएंसर्स की मदद लेगी. इन्फ्लुएंसर्स अब रील्स के माध्यम से सोशल मीडिया पर चना दाल के फायदे और कॉस्ट इफेक्टिवनेस केबारे में लोगों को जागरूक करेंगे. इसके लिए मशहूर Influencers के साथ उपभोक्ता मामले सचिव ने बैठक भी की है. सरकार का फोकस अरहर दाल की बजाय चने की खपत को बढ़ाने पर है.
‘Bharat Dal’ 60 रुपए किलो मिलेगा
इसके अलावा सरकार ने भारत दाल (Bharat Dal) से चना दाल बाजार में उतारा है. ‘Bharat Dal’ के नाम से दाल ₹60 प्रति किलो की रियायती दर पर मिलेगी. वहीं 30 किलो पैकेट का दाल 55 रुपए किलो के भाव पर मिलेगा. नाफेड (NAFED), सफल, केंद्रीय भंडार पर ‘Bharat Dal’ उपलब्ध होगा.
703 नाफेड स्टोर्स पर होगी रियायती दाल की बिक्री
केंद्रीय उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्री पीयूष गोयल ने 'भारत दाल' (Bharat Dal) ब्रांड नाम के तहत सब्सिडी वाली चना दाल की बिक्री की घोषणा की. देशभर में 703 नाफेड स्टोर्स पर रियायती दाल की बिक्री होगी. ज़ी बिजनस ने सबसे पहले कहा था कि सरकार चना दाल बेचेगी, NAFED के भंडार में चने से दाल बनाकर बाजार में लाने की शुरुआत.
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