160 लाख मीट्रिक टन धान खरीदेगी छत्तीसगढ़ सरकार, 11 नवंबर से शुरू होगी खरीद
Paddy Procurement: चालू खरीफ विपणन सत्र में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी और ‘कस्टम मिलिंग’ की नीति की समीक्षा करने और सुझाव देने के लिए गठित मंत्रिपरिषद उप समिति की मंत्रालय नया रायपुर में सोमवार को हुई बैठक में यह फैसला लिया गया.
Paddy Procurement: छत्तीसगढ़ सरकार ने 2024-25 खरीफ विपणन सत्र के लिए 160 लाख मीट्रिक टन धान खरीद का अनुमानित लक्ष्य रखा है. अधिकारियों ने यह जानकारी दी. जनसंपर्क विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि चालू खरीफ विपणन सत्र में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी और ‘कस्टम मिलिंग’ की नीति की समीक्षा करने और सुझाव देने के लिए गठित मंत्रिपरिषद उप समिति की मंत्रालय नया रायपुर में सोमवार को हुई बैठक में यह फैसला लिया गया.
उन्होंने बताया कि राज्य के खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री दयालदास बघेल की अध्यक्षता में हुई बैठक में समिति ने राज्य में किसानों से अनुमानित 160 लाख मीट्रिक टन धान खरीदने का फैसला लिया. बैठक में मंत्री-मंडलीय उप समिति के सदस्य वन एवं जलवायु परिवर्तन और सहकारिता मंत्री केदार कश्यप, स्वास्थ्य व परिवार कल्याण और 20 सूत्रीय क्रिर्यान्वयन मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल और राजस्व व आपदा प्रबंधन मंत्री टंकराम वर्मा शामिल हुए.
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15 नवंबर से शुरू होगी धान खरीद
अधिकारियों ने बताया कि दीपावली के पर्व और राज्य स्थापना दिवस पर राज्योत्सव को ध्यान में रखते हुए धान खरीद 15 नवंबर से शुरू किए जाने के संबंध में भी चर्चा की गई. हालांकि, इस संबंध में अंतिम निर्णय मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की अध्यक्षता में होने वाली मंत्रिमंडल की बैठक में लिया जाएगा. उन्होंने बताया कि राज्य में पंजीकृत किसानों से समर्थन मूल्य पर 21 क्विंटल प्रति एकड़ की दर से धान खरीदने का फैसला भी लिया गया. सभी खरीद केंद्रों को ‘इलेक्ट्रॉनिक वेटिंग मशीन’ की व्यवस्था करने को भी कहा गया है.
अधिकारी ने बताया कि मंत्रिमंडल उपसमिति ने जूट (पटसन) आयुक्त तथा ‘जेम पोर्टल’ के जरिये जूट बैग खरीदने का भी फैसला लिया ताकि धान की खरीद सुव्यवस्थित हो सके और किसानों को जूट बैग आसानी से उपलब्ध हो सकें. खरीफ के पिछले मौसम में राज्य में समर्थन मूल्य पर रिकॉर्ड 144.92 लाख मीट्रिक टन धान की खरीद की गई थी और अनुमान लगाया जा रहा है कि चालू मौसम में यह 160 लाख मीट्रिक टन तक पहुंच जाएगी. अधिकारी ने बताया कि राज्य में 2,058 सहकारी समितियों और 2,739 धान खरीद केंद्रों के जरिये खरीद की जाएगी.