एस्सार स्टील में मेजॉरिटी हिस्सेदारी रखने वाली एस्सार स्टील एशिया होल्डिंग्स (ESAHL) ने कंपनी को खरीदने की आर्सेलरमित्तल की कोशिश को खारिज किए जाने की मांग को लेकर मंगलवार को राष्ट्रीय कंपनी कानून अपीली न्यायाधिकरण (NCLAT) का दरवाजा खटखटाया.

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साजिश रचने का आरोप लगाया

एस्सार स्टील ने एक बयान में कहा, "लक्ष्मी मित्तल और आर्सेलर मित्तल इंडिया लिमिटेड (AAM) ने प्रमुख तथ्यों को दबाने के लिए साजिश रची और ऋणदाताओं की समिति, सर्वोच्च न्यायालय और अपीली न्यायाधिकरण को यह मानने के लिए भ्रमित किया कि लक्ष्मी मित्तल और आर्सेलर मित्तल ने अपने भाइयों प्रमोद मित्तल और विनोद मित्तल व उनकी कंपनियों के साथ कोई भी कारोबार नहीं किया था."

हलफनामे का जिक्र

प्रशांत रुइया के नेतृत्व वाली ईएसएएचएल ने अपने आवेदन में आर्सेलर मित्तल द्वारा 17 अक्टूबर, 2018 को दाखिल एक हलफनामे का जिक्र किया है, जिसमें कहा गया है कि लक्ष्मी मित्तल और उनके भाइयों तथा उनकी कंपनियों के बीच 20 वर्षों से अधिक समय तक कोई कारोबारी जुड़ाव नहीं रहा है. और इसलिए लक्ष्मी मित्तल या आर्सेलर मित्तल की उस किसी भी कंपनी में कोई हिस्सेदारी नहीं है, जिनमें उनके भाई प्रमोटर हैं. इन कंपनियों में जीपीआई टेक्टाइल्स, बालासोर अलॉयस और गोंटरमैन पीपर्स भी शामिल हैं.

सह प्रमोटर थे मित्‍तल

एस्सार स्टील में 72 प्रतिशत हिस्सेदारी रखने वाली ईएसएएचएल ने जो दस्तावेज प्रस्तुत किए हैं, उससे पता चलता है कि 30 सितंबर, 2018 तक लक्ष्मी मित्तल अपने भाइयों प्रमोद मित्तल और विनोद मित्तल के साथ नवोदय कंसल्टैंट्स में सह-प्रमोटर थे, और नवोदय जीपीआई टेक्सटाइल्स, बालासोर अलायस और गोंटरमैन पीपर्स का एक प्रमोटर थी.