Year Ender: महंगे कर्ज का साल रहा 2022, बढ़ गई लोन लेने वालों की EMI, आरबीआई ने रेपो रेट में 5 बार किया इजाफा
Year Ender: साल 2022 में जितनी बार भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर की अध्यक्षता में मोनेटरी पॉलिसी मीटिंग की अनाउंसमेंट की, रेपो रेट में हर बार बढ़ोतरी का ही ऐलान किया. यह ऐलान कर्ज लेने वालों पर भारी पड़ता गया.
Year Ender: साल 2022 को विदाई देने की बेला है. लेकिन यह साल बैंकों या दूसरे वित्तीय संस्थानों से लोन लेने वालों को महंगे कर्ज का बोझ (interest rate hike 2022) दे गया. कर्ज लेने वालों की मासिक किस्त बहुत महंगी हो गई. फ्रेश लोन लेना काफी महंगा हो गया. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने साल 2022 में कुल पांच बार अपनी नीतिगत दर यानी रेपो रेट में इजाफा किया. रेपो रेट (repo rate) में बढ़ोतरी या कमी का असर बैंक या एनबीएसी से लिए गए कर्ज पर ब्याज (interest rate in India) में बदलाव के तौर पर होता है. साल 2022 में जितनी बार भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर की अध्यक्षता में मोनेटरी पॉलिसी मीटिंग की अनाउंसमेंट की, रेपो रेट में हर बार बढ़ोतरी का ही ऐलान किया. यह ऐलान कर्ज लेने वालों पर भारी पड़ता गया.
साल में 2022 में रेपो रेट में कब कितनी बढ़ोतरी
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने साल 2022 में पहली बार मई में रेपो रेट में 0.40 प्रतिशत की बढ़ोतरी की गई. तब यह रेट (RBI increased repo rate) 4 प्रतिशत से बढ़कर 4.40 प्रतिशत हो गया. इसके बाद 8 जून 2022 को फिर आरबीआई ने 0.50 प्रतिशत की बढ़ोतरी कर दी. रेपो रेट बढ़कर 4.90 प्रतिशत हो गया. आरबीआई ने फिर 5 अगस्त को रेपो रेट में फिर 0.50 प्रतिशत की बढ़ोतरी कर दी. इस ऐलान के बाद रेपो रेट बढ़कर 5.40 प्रतिशत हो गया. इसके बाद अगले महीने ही 30 सितंबर को 0.50 प्रतिशत की बढ़ोतरी कर दी और रेपो रेट बढ़कर 5.90 प्रतिशत पर जा पहुंचा. साल 2022 के जाते-जाते भी सबसे आखिरी बार 7 दिसंबर को 0.35 प्रतिशत की बढ़ोतरी का ऐलान कर दिया. रेपो रेट अब 6.25 प्रतिशत पर पहुंच गया है, जो फरवरी 2019 के लेवल के बराबर हो गया है.
बैकों ने महंगे कर्ज का शुरू किया सिलसिला
रेपो रेट (repo rate) में इजाफा के साथ ही बैंक और एनबीएफसी भी होम लोन (home loan), ऑटो लोन (Auto Loan), पर्सनल लोन (PersonL Loan) और दूसरे लोन पर ब्याज दर (interest rate hike 2022)में लगातार इजाफा करते चले गए. इसके चलते कस्टमर्स की ईएमआई लगातार बढ़ती चली गई. देश के सबसे बड़े बैंक भारतीय स्टेट बैंक के होम लोन पर शुरुआती ब्याज दर 8.90 प्रतिशत सालाना है, जबकि पर्सनल लोन 10.90 प्रतिशत की शुरुआती ब्याज दर पर मिल रहा है. आरबीआई ने महंगाई की चुनौती को देखते हुए अगले साल के लिए भी ब्याज दरों में राहत नहीं मिलने के संकेत दिए हैं.
Repo Rate में बढ़ोतरी से एफडी हुआ आकर्षक
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के रेपो रेट (repo rate) में लगातार बढ़ोतरी से लोन तो महंगा हो गया, लेकिन फिक्स्ड डिपोजिट (FD) जो अपना आकर्षण बिल्कुल खो चुका था, ने जबरदस्त वापसी की. बैंकों ने एफडी पर ब्याज दरों में लगातार बढ़ोतरी करनी शुरू की. एसबीआई, एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई बैंक सहित तमाम बैंक और एनबीएफसी ने एफडी की दरों में इजाफा किया. रेपो रेट में बढ़ोतरी ने म्यूचुअल फंड्स (Mutual Funds), बचत और उपभोक्ता की खपत (Consumer Spending) पर भी प्रभाव डाला.
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