RBI fine on 3 Banks: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने अपने परिचालन के संचालन में आधिकारिक मानदंडों का उल्लंघन करने के लिए गुजरात में तीन सहकारी बैंकों पर मौद्रिक जुर्माना लगाया है. 'प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंकों (USB) द्वारा अन्य बैंकों में जमा राशि रखने' पर जारी RBI के निर्देशों के उल्लंघन के लिए उमा को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, वडोदरा पर 7 लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया है.

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RBI द्वारा किए गए बैंक के वैधानिक निरीक्षण से पता चला कि बैंक ने निर्धारित अंतर-बैंक प्रतिपक्ष जोखिम सीमा का उल्लंघन किया था और निर्धारित अंतर-बैंक सकल एक्सपोज़र सीमा का भी उल्लंघन किया. नतीजतन, बैंक को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया.

बैंकों पर क्यों लगा जुर्माना

RBI ने सोमवार को जारी एक बयान में कहा, "नोटिस पर बैंक के जवाब और व्यक्तिगत सुनवाई के दौरान मौखिक प्रस्तुतियों पर विचार करने के बाद RBI इस निष्कर्ष पर पहुंचा कि RBI के उपरोक्त निर्देशों का पालन न करने का आरोप प्रमाणित हुआ और बैंक पर मौद्रिक जुर्माना लगाना जरूरी हो गया."

इन बैंकों पर लगा जुर्माना

इसी तरह, RBI ने निदेशकों, रिश्तेदारों और फर्मों/संस्थाओं को ऋण और अग्रिम' पर अपने निर्देशों का पालन न करने के कारण गुजरात के बनासकांठा में शिहोरी नागरिक सहकारी बैंक लिमिटेड पर 1 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है. RBI ने नो योर कस्टमर (KYC) मानदंडों से संबंधित निर्देशों का पालन न करने के लिए खेड़ा जिले में पिज पीपुल्स को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, पिज पर 2 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया है.

बैंक के वैधानिक निरीक्षण से पता चला कि वह खातों के जोखिम वर्गीकरण की समय-समय पर समीक्षा करने में विफल रहा है. 

बैंक के कस्टमर्स पर होगा क्या असर?

RBI ने यह भी कहा कि ये कार्रवाइयां विनियामक अनुपालन में कमियों पर आधारित थीं और बैंकों द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या समझौते की वैधता पर फैसला देने का इरादा नहीं था.