भारतीय रिजर्व बैंक (reserve bank of india) ने साल 2020 की पहली और चालू वित्त वर्ष की अंतिम क्रेडिट पॉलिसी (RBI Monetary Policy) जारी कर दी है. आरबीआई ने रेपो दर कोई बदलाव नहीं करने का फैसला करते हुए रेपो रेट को 5.15 प्रतिशत पर बरकरार रखा है. यह लगातार दूसरी बार है जब शीर्ष बैंक ने रेपो दर (repo rate) को स्थिर रखा गया है. बैंक ने आर्थिक वृद्धि दर 6 फीसदी रहने का अनुमान जारी किया है. रिजर्व बैंक ने फरवरी 2019 से अक्टूबर 2019 के दौरान रेपो दर में 1.35 प्रतिशत की कटौती की थी.

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गुरुवार को रिजर्व बैंक ने मौद्रिक नीति समिति की बैठक के नतीजों की घोषणा करते हुए कहा कि जब तक संभव है, वह नीतिगत रुख को उदार बनाये रखेगा.

और बढ़ेगी महंगाई

ब्याज दरों में बदलाव नहीं करने के पीछे के कारणों पर रोशनी डालते हुए आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास (Shaktikanta Das) ने बताया कि आर्थिक वृद्धि के मुकाबले महंगाई की बढ़ती रफ्तार को देखते हुए मौद्रिक नीति समिति को लगता है कि वर्तमान स्थिति में कोई छेड़ाछाड़ न की जाए और उसे यथावत रखा जाना चाहिये. शक्तिकांत दास ने आने वाले समय में महंगाई और बढ़ने की आशंका जाहिर की और  मुद्रास्फीति के परिदृश्य को बेहद अनिश्चित बताया. मौद्रिक नीति के सभी छह सदस्यों ने ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं करने का फैसला किया है.

रिजर्व बैंक ने आर्थिक वृद्धि दर 2019-20 में पांच प्रतिशत रहने के अनुमान को बनाये रखा. उसने कहा कि आर्थिक वृद्धि 2020-21 में सुधरकर 6 प्रतिशत हो सकती है.उसने कहा कि आर्थिक वृद्धि दर अभी भी अपनी संभावित क्षमता से कम है.

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शीर्ष बैंक के गर्वनर (RBI Governor) शक्तिकांत दास ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि आर्थिक गतिविधियां नरम बनी हुई हैं. जिन चुनिंदा संकेतकों में हालिया समय में सुधार देखने को मिला है, व्यापक स्तर पर इनमें भी अभी तेजी आनी शेष है. वृद्धि दर की तुलना में मुद्रास्फीति की बढ़ती रफ्तार को देखते हुए मौद्रिक नीति समिति को लगता है कि स्थिति को यथावत रखा जाना चाहिये. उसने कहा कि निकट भविष्य में मुद्रास्फीति के उच्च बने रहने की आशंका है. उसने मुद्रास्फीति के परिदृश्य को बेहद अनिश्चित बताया.

 

शक्तिकांत दास ने बताया कि रिजर्व बैंक के पास आर्थिक विकास दर तेज करने के उपाय हैं. इन पर समय आने पर विचार किया जाएगा. उन्होंने कहा कि विदेशी मुद्रा भंडार 5 फरवरी तक सालाना आधार पर 58 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि के साथ 471.8 अरब डॉलर पर पहुंच गया है.

मौद्रिक नीति की प्रमुख बातें

- रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया गया है.

- रेपो रेट 5.15 फीसदी पर स्थिर रहेगा.

- रिवर्स रेपो रेट में भी कोई बदलाव नहीं किया गया है.

- रिवर्स रेपो रेट 4.90 फीसदी पर स्थिर रहेगा.

- MPC के सभी सदस्य बिना बदलाव के पक्ष में दिखाई दिए.

- जनवरी-मार्च में CPI महंगाई दर अनुमान 6.5 फीसदी.

- वित्त वर्ष 2020-21 में GDP ग्रोथ दर 5.5-6 फीसदी का अनुमान.

- अक्टूबर-दिसंबर, 2020 से महंगाई कम होगी.

- कस्टम ड्यूटी बढ़ने से महंगाई में एकमुश्त बढ़ोतरी संभव है.

- इकोनॉमी में आगे भी कमजोरी के संकेत हैं.

- RBI की अगली पॉलिसी 3 अप्रैल को होगी.

- रियल एस्टेट सेक्टर के लिए बड़ी राहत का ऐलान.