इस बैंक का लाइसेंस हुआ कैंसिल, 79% ग्राहकों को मिलेंगे 5-5 लाख रुपए
RBI Cancels Bank licence: RBI ने कहा कि करीब 79% डिपॉजिटर्स, डिपॉजिट इंश्योरेंस और क्रेडिट गारंटी कॉरपोरेशन (DICGC) से अपनी जमा राशि की पूरी राशि प्राप्त करने के हकदार हैं.
RBI Cancels Bank licence: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने एक और बैंक का लाइसेंस कैंसिल किया. केंद्रीय बैंक ने बाबाजी दाते महिला सहकारी बैंक लिमिटेड (Babaji Date Mahila Sahakari Bank), यवतमाल, महाराष्ट्र का लाइसेंस रद्द किया. रिजर्व बैंक ने कहा कि इस लेंडर्स के पास पर्याप्त पूंजी और कमाई की संभावनाएं नहीं हैं, जिसके मद्देनजर यह कदम उठाया गया है.
79% जमाकर्ताओं को मिलेगा पूरा पैसा
बैंक द्वारा दिए गए आंकड़ों के हवाले से RBI ने कहा कि करीब 79% डिपॉजिटर्स, डिपॉजिट इंश्योरेंस और क्रेडिट गारंटी कॉरपोरेशन (DICGC) से अपनी जमा राशि की पूरी राशि प्राप्त करने के हकदार हैं. डीआईसीजीसी (DICGC) ने 16 अक्टूबर, 2022 तक पहले ही कुल बीमित जमा राशि का 294.64 करोड़ रुपए का भुगतान कर दिया है.
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बैंक में जमा 5 लाख रुपए सेफ
बता दें कि DICGC, आरबीआई की पूर्ण स्वामित्व वाली सब्सिडियरी कंपनी है, जो बैंक जमा पर 5 लाख रुपए तक का बीमा कवर उपलब्ध कराती है. यह प्रिंसिपल और इंटरेस्ट दोनों मिलाकर है. DICGC आपके बैंक में सेविंग्स, फिक्स्ड, करंट, रेकरिग समेत सभी तरह के डिपॉजिट पर इंश्योरेंस कवरेज देता है.
डीआईसीजीसी द्वारा शुरू किए गए जमा बीमा में सभी कमर्शियल बैंक शामिल हैं, जिनमें स्थानीय क्षेत्र के बैंक और क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक के साथ-साथ सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के सहकारी बैंक शामिल हैं.
बैंक का लाइसेंस रद्द
अपने लाइसेंस को रद्द करने के परिणामस्वरूप, बाबाजी दाते महिला सहकारी बैंक लिमिटेड को 'बैंकिंग' का व्यवसाय करने से प्रतिबंधित कर दिया गया है, जिसमें अन्य बातों के अलावा, उसे जमा राशि लेने और भुगतान करने से तत्काल प्रभाव से रोका जाना शामिल है.
11 नवंबर, 2022 को कारोबार बंद होने के बाद से बाबाजी दाते महिला सहकारी बैंक का लाइसेंस रद्द करने की घोषणा करते हुए RBI ने कहा कि बैंक के पास पर्याप्त पूंजी और कमाई की संभावनाएं नहीं हैं. रिजर्व बैंक ने कहा, बैंक अपनी वर्तमान वित्तीय स्थिति के साथ अपने वर्तमान जमाकर्ताओं को पूर्ण भुगतान करने में असमर्थ होगा और अगर बैंक को अपने बैंकिंग कारोबार को आगे बढ़ाने की अनुमति दी जाती है तो जनहित पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा.