जल्दी ही बैंक नॉन बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनी (NBFC ) से कम रेटिंग वाले लोन पोर्टफोलियो भी खरीद सकेंगे. सूत्रों के मुताबिक सरकार अगले हफ्ते पार्शियल क्रेडिट गारंटी स्कीम में बदलाव करेगी. सरकार ने बजट के समय पार्शियल क्रेडिट गारंटी स्कीम को अनाउंस किया था ताकि लिक्विडिटी संकट से जूझ रहे एनबीएफसी को सपोर्ट मिल सके.

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

लेकिन इस स्कीम में कुछ ऐसी शर्तें थी जिसमें जिनकी रेटिंग डबल ए है या उससे ज्यादा है, ऐसे ही एसेट बैंक एनबीएफसी से खरीद सकते थे. इसके अलावा जो स्पेशल मेंशन अकाउंट (SMA) जिनमें काफी ज्यादा रिस्क होता है कि वह या तो एनपीए या स्ट्रेस एसेट में कन्वर्ट हो जाता है. ऐसे एसेट इस स्कीम के अन्दर क्वालिफाई नहीं कर पाते थे. इन वजहों से एनबीएफसी को बहुत समस्या आ रही थी.

सरकार ने इन्हीं दिक्कतों को दूर करने के लिए आरबीआई से कंसल्ट किया है. उन्होंने इन दोनों प्रावधानों में राहत देने की बात कही है. आरबीआई से इस मामले में जल्द ही कोई फैसला आने की उम्मीद है. खबरों के मुताबिक, अब जो कम रेटिंग वाले एसेट हैं, बैंक उन्हें भी एनबीएफसी से खरीद पाएंगे.