टाटा मोटर्स ने शुक्रवार को कहा कि इस दशक के अंत तक भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों (Electric Vehicles) की सालाना बिक्री का आंकड़ा 10 लाख यूनिट को पार कर सकता है. कंपनी को इस दौरान अपनी कुल बिक्री में इलेक्ट्रिक वाहन की हिस्सेदारी 50 प्रतिशत पर पहुंचने की उम्मीद है. देश की प्रमुख वाहन कंपनी वर्तमान में तिमाही आधार पर अपनी कुल बिक्री का 14-15 प्रतिशत इलेक्ट्रिक वाहनों से प्राप्त करती है. कंपनी ने एक लाख इलेक्ट्रिक वाहनों की कुल बिक्री का आंकड़ा पार कर लिया है.

बीते 5 सालों में 100 गुना बढ़ी बिक्री

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टाटा मोटर्स पैसेंजर वेहिकल्स के प्रबंध निदेशक शैलेश चंद्रा ने यहां संवाददाताओं से कहा, पांच साल पहले इलेक्ट्रिक वाहन प्रति माह महज 90 यूनिट बिकते थे. आज ये प्रति माह 8,500 से 9,500 यूनिट पर पहुंच चुके हैं, जो लगभग 100 गुना है…पांच साल पहले उद्योग ने लगभग 2,000 कारें बेची थीं और हम इस वर्ष पहले से ही एक लाख से अधिक इकाइयों की वार्षिक दर के बारे में बात कर रहे हैं, जो 50 गुना वृद्धि है.

अगले 5 सालों में बिक्री 10 गुना बढ़ने की उम्मीद

चंद्रा ने कहा कि अगले पांच साल में यह कम से कम-से-कम 10 गुना होकर 10 लाख यूनिट के करीब क्यों नहीं होना चाहिए, यही मैं कहूंगा… यह भारतीय उपभोक्ताओं और देश के लिए एक रोमांचक समय होगा क्योंकि इस दृष्टिकोण को साकार किया जा सकता है, जिसे सरकार द्वारा निर्धारित किया गया था.

JLR का इलेक्ट्रिक व्हीकल को लेकर बड़ा प्लान

पिछले दिनों टाटा मोटर्स के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने कहा कि जगुआर लैंड रोवर (जेएलआर) की इलेक्ट्रिक व्हीकल को लेकर बड़ी योजना है. टाटा मोटर्स की सालाना आम बैठक को ऑनलाइन तरीके से संबोधित करते हुए चंद्रशेखरन ने कहा कि कंपनी अपने कम-से-कम 50 प्रतिशत वाहनों को इलेक्ट्रिक या हरित परिवहन वाहनों में बदलने की उम्मीद कर रही है. इसी तरह सब्सिडियरी कंपनी जेएलआर का लक्ष्य 2030 तक अपने 65 प्रतिशत वाहनों को ग्रीन टेक्नोलॉजी पर लाने का है.

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