ट्रांसपोर्ट मंत्री नितिन गडकरी ने 7 जनवरी को 27 राज्यों के मंत्रियों के साथ 17 विषयों पर चर्चा की. इसमें इस बात को लेकर चर्चा हुई कि ट्रांसपोर्ट सेक्टर को ग्लोबल लेवल का कैसे बनाया जाए. 2024 के आंकड़े के अनुसार सड़क दुर्घटना में 1.80 लाख लोगों की मौत हुई है. इसमें अधिकतर युवा थे. स्कूलों के सामने सही व्यवस्था ना होने की वजह से बहुत सारे बच्चों की भी मौत हुई. इस मीटिंग में रोड सेफ्टी पर डिटेल में चर्चा हुई.

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इसके अलावा एक्सिडेंट होने के मामले में कैशलेस योजना की शुरुआत की गई है. एक्सिडेंट होने के बाद 24 घंटों के अंदर जैसे ही पुलिस को जानकारी मिलेगी, उसके बाद घायल व्यक्ति का 7 दिन का इलाज खर्च या 1.5 लाख रुपये तक सरकार देगी. अगर व्यक्ति की मौत होती है तो उसके परिवार को 2 लाख रुपये दिए जाएंगे.

स्क्रैपिंग पॉलिसी पर भी डिटेल में चर्चा हुई. गाड़ी लेते वक्त अगर आपके पास स्क्रैपिंग सर्टिफिकेट होगा तो आपको रजिस्ट्रेशन में 50 फीसदी तक यानी 50 हजार रुपये की सहूलियत मिलेगी. साथ ही मैन्युफैक्चरर भी 1.5-3 फीसदी तक की सहूलियत देंगे. स्क्रैपिंग के फायदे हो रहे हैं, जिसके चलते स्क्रैपिंग सेंटर शुरू हुए हैं. 

राज्य सरकार अपनी बसें, ट्रक या गाड़ियां स्क्रैप करती है तो इससे उन्हें भी फायदा मिलेगा. इससे एक सर्कुलेशन इकनॉमी बनेगी. नए रोजगार पैदा होंगे. करीब 18 हजार करोड़ रुपये का जीएसटी बढ़ेगा. हमारी ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री अब जापान से आगे हो गई है, जो 22 लाख करोड़ पर पहुंच गई है. देश में करीब 22 लाख ड्राइवर की कमी है, जिस पर भी एक नई पॉलिसी बनाई गई.